राहुल गांधी और खरगे का जम्मू-कश्मीर को राज्य का दर्जा पुनः प्रदान का वादा, प्रधानमंत्री मोदी की हिम्मत को झकझोरने का दावा

राहुल गांधी और खरगे का जम्मू-कश्मीर को राज्य का दर्जा पुनः प्रदान का वादा, प्रधानमंत्री मोदी की हिम्मत को झकझोरने का दावा

राहुल गांधी और खरगे का जम्मू-कश्मीर दौरा: राज्य का दर्जा पुनः प्रदान का वादा

राहुल गांधी और कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मलिका अर्जुन खरगे ने जम्मू-कश्मीर का दो दिवसीय दौरा किया। इस दौरे का मुख्य उद्देश्य आगामी चुनावों के मद्देनजर समर्थन जुटाना और संभावित गठबंधनों की खोज करना था। श्रीनगर में उन्होंने पार्टी कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए कहा कि कांग्रेस पार्टी और इंडिया गठबंधन का प्राथमिक लक्ष्य जम्मू-कश्मीर को फिर से राज्य का दर्जा प्रदान करना है।

राहुल गांधी ने बताया कि जम्मू-कश्मीर और लद्दाख के लोगों के लोकतांत्रिक अधिकारों को पुनः स्थापित करना कांग्रेस पार्टी और इंडिया गठबंधन की प्राथमिकता है। उन्होंने कहा कि राज्य में राज्य का दर्जा बदलकर इसे केंद्र शासित प्रदेश में बदलना भारतीय इतिहास में अभूतपूर्व था। इस मुद्दे की महत्ता को उजागर करते हुए उन्होंने कहा, 'यह हमारी प्राथमिकता है और हम इस पर काम करेंगे।'

प्रधानमंत्री मोदी के आत्मविश्वास को कम करने का दावा

राहुल गांधी ने यह भी दावा किया कि कांग्रेस और इंडिया गठबंधन ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के आत्मविश्वास को 'मानसिक रूप से' प्रभावित किया है। उन्होंने कहा कि मोदी का आत्मविश्वास कमजोर हो गया है और इस परिवर्तन का श्रेय कांग्रेस की 'प्रेम, एकता और सम्मान' की राजनीति को दिया।

मलिका अर्जुन खरगे ने अपने भाषण में प्रधानमंत्री मोदी को 'झूठ का मास्टर' कहकर संबोधित किया और लोगों से उन पर विश्वास न करने की अपील की। उन्होंने भी जम्मू-कश्मीर को फिर से राज्य का दर्जा प्रदान करने का समर्थन दोहराया और कहा कि कांग्रेस पार्टी इस क्षेत्र के लोगों की भलाई के लिए काम करने के लिए प्रतिबद्ध है।

सुरक्षा स्थिति पर खरगे की आलोचना

सुरक्षा स्थिति पर खरगे की आलोचना

खरगे ने मोदी की शासन के दौरान सुरक्षा स्थिति की भी आलोचना की, उन्होंने बताया कि इस अवधि में 2,350 आतंकवादी घटनाएं और 377 नागरिक मौतें हुई हैं। उन्होंने उम्मीद जताई कि आगामी जम्मू-कश्मीर विधानसभा चुनावों में कांग्रेस 40-45 सीटें जीतेगी और इस क्षेत्र की भूमि, जंगलों और अन्य संसाधनों की रक्षा करने का वादा किया।

नेशनल कांफ्रेंस के साथ गठबंधन की पुष्टि

कांग्रेस पार्टी फिलहाल विधानसभा चुनावों की तैयारियों की समीक्षा कर रही है और नेशनल कॉन्फ्रेंस के साथ 90 सीटों वाले जम्मू-कश्मीर विधानसभा के लिए सीट-बंटवारे की व्यवस्था को अंतिम रूप देने की ओर अग्रसर है। राहुल गांधी और खरगे ने नेशनल कॉन्फ्रेंस के अध्यक्ष फारूक अब्दुल्ला से भी मुलाकात की, और दोनों पार्टियों के बीच गठबंधन को 'सही दिशा में' बताया।

इस भ्रमण से संबंधित मीटिंग्स और जनसभाओं में उनके वचनों और रणनीतियों से यह स्पष्ट हो गया है कि कांग्रेस पार्टी जम्मू-कश्मीर में एक मजबूत विपक्ष की भूमिका निभाने के लिए पूरी तरह से तैयार है। गठबंधन की पुष्टि ने भी राजनीतिक परिदृश्य को नया रंग दिया है।

12 Comments

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    Sandesh Gawade

    अगस्त 25, 2024 AT 03:31
    ये सब वादे तो हर चुनाव में होते हैं, पर जम्मू-कश्मीर की असली समस्या तो आतंकवाद और बेरोजगारी है। राज्य का दर्जा वापस मिले या न मिले, लोगों को रोज़ का खाना चाहिए।
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    MANOJ PAWAR

    अगस्त 25, 2024 AT 20:49
    राहुल गांधी कह रहे हैं कि मोदी का आत्मविश्वास टूट गया... अगर ऐसा है तो फिर उनकी टीम के लोग इतने जोर से इस बारे में बात क्यों कर रहे हैं? जैसे किसी को अपना दिमाग ठीक करने की जरूरत हो।
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    Pooja Tyagi

    अगस्त 26, 2024 AT 06:42
    अरे भाई! ये राज्य का दर्जा वापसी का मुद्दा तो सिर्फ एक धोखा है! 🤦‍♀️ जम्मू-कश्मीर में आज जो भी हो रहा है, उसका जिम्मेदार तो वो है जिसने 2019 में अनुच्छेद 370 हटाया! अब बात करना शुरू कर दिया, जब चुनाव आ गए?! ये तो बस वोट मांगने की चाल है!
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    Kulraj Pooni

    अगस्त 26, 2024 AT 14:09
    क्या आपने कभी सोचा है कि राज्य का दर्जा वापसी से जम्मू-कश्मीर के लोगों की आत्मनिर्भरता बढ़ेगी? या ये सिर्फ एक राजनीतिक नारा है जिसे लोगों को भावनात्मक रूप से जोड़ने के लिए इस्तेमाल किया जा रहा है? हम तो असली समाधान चाहते हैं - शिक्षा, रोजगार, सुरक्षा। न कि शब्दों का खेल।
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    Hemant Saini

    अगस्त 27, 2024 AT 18:22
    मैं समझता हूँ कि राज्य का दर्जा एक प्रतीक है, लेकिन अगर हम वास्तविक बदलाव चाहते हैं तो इससे ज्यादा जरूरी है कि हम युवाओं को नौकरियाँ दें, नौसिखियों को अपनी आवाज़ उठाने का मौका दें, और नागरिकों को अपने भविष्य पर विश्वास करने की हिम्मत दें। राजनीतिक नारे तो लोग भूल जाते हैं, पर रोज़ की जिंदगी नहीं।
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    Nabamita Das

    अगस्त 27, 2024 AT 23:18
    2,350 आतंकवादी घटनाएं? ये आंकड़े कहाँ से आए? अगर ये सच है तो ये तो एक बहुत बड़ी नाकामी है। पर इसका जिम्मा केवल मोदी पर नहीं, बल्कि पूरी राजनीतिक व्यवस्था पर है। लोगों को बेकार के वादों से नहीं, बल्कि असली योजनाओं से जोड़ा जाए।
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    chirag chhatbar

    अगस्त 29, 2024 AT 03:01
    yrr ye sab kuchh bas election ke liye bol rahe hai... kuchh karte toh bhi dikhate... phir se rajya darr ja hai? bhai koi real plan toh batao... bas slogan nahi chahiye!
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    Aman Sharma

    अगस्त 30, 2024 AT 03:53
    राहुल गांधी का आत्मविश्वास टूटा है? ये तो उनकी अपनी बात है। अगर वो अपने आप को इतना नीचा महसूस करते हैं, तो फिर उनकी टीम क्यों इतनी जोर से इस बारे में बात कर रही है? ये तो अपने आप को बचाने की कोशिश है।
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    sunil kumar

    सितंबर 1, 2024 AT 02:38
    अगर आप वाकई जम्मू-कश्मीर के लोगों की मदद करना चाहते हैं, तो इस बारे में बात करने के बजाय, एक डिटेल्ड एक्शन प्लान बनाएं! शिक्षा के लिए फंड, युवाओं के लिए स्टार्टअप इन्क्यूबेशन, नौकरियों के लिए एग्रीकल्चरल इन्वेस्टमेंट - ये सब असली चीज़ें हैं। राज्य का दर्जा तो सिर्फ एक स्टेटस सिम्बल है।
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    Arun Kumar

    सितंबर 2, 2024 AT 15:30
    कांग्रेस के लोगों का तरीका ही बदला नहीं। वो तो अपनी गलतियों को भूल गए और अब दूसरों को गलत बता रहे हैं। जम्मू-कश्मीर की असली समस्या तो इन्हीं के नेताओं का दिमागी बंद होना है।
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    Snehal Patil

    सितंबर 3, 2024 AT 18:13
    राहुल ने कहा कि मोदी का आत्मविश्वास टूटा है... अरे भाई, तुम्हारा तो अपना आत्मविश्वास तो 2014 से टूटा है! 😂
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    Vikash Yadav

    सितंबर 5, 2024 AT 03:06
    दोस्तों, ये सब बातें तो बस चुनावी फेक न्यूज़ हैं। असली बात ये है कि जम्मू-कश्मीर के लोगों को अपनी जमीन, अपने जंगल, अपने नदियों पर नियंत्रण चाहिए। राज्य का दर्जा तो बस एक टिकट है - असली ताकत तो उनके हाथों में है जो वहाँ रहते हैं। अगर हम उनकी आवाज़ बन जाएं, तो राज्य का दर्जा खुद आ जाएगा।

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