‘बेड न्यूज़ रिव्यु: विक्की कौशल, तृप्ति डिमरी, और एमी विर्क स्टारर कॉमेडी जो सच्ची कहानी पर आधारित है

‘बेड न्यूज़ रिव्यु: विक्की कौशल, तृप्ति डिमरी, और एमी विर्क स्टारर कॉमेडी जो सच्ची कहानी पर आधारित है

‘बेड न्यूज़’ की समीक्षा

फिल्म 'बेड न्यूज़' का निर्देशन आनंद तिवारी ने किया है और इसमें विक्की कौशल, तृप्ति डिमरी, और एमी विर्क मुख्य भूमिकाओं में नजर आ रहे हैं। यह फिल्म एक बेहद ही दुर्लभ जैविक घटना पर आधारित है जिसे ‘हेटेरोपाटर्नल सुपरफिकुंडेशन’ कहा जाता है। इस घटना में एक महिला दो विभिन्न जैविक पिताओं से एक साथ जुड़वा बच्चों को जन्म देती है। यह कहानी असल जिंदगी में वर्ष 2022 में एक 19 वर्षीय ब्राज़ीलियाई महिला के अनुभव पर आधारित है।

फिल्म की कहानी

फिल्म में तृप्ति डिमरी द्वारा निभाई गई सलोनी बग्गा की कहानी दिखाई गई है, जो एक युवा शेफ है। उसकी जिंदगी उस वक्त अचानक उलझ जाती है जब वह दो अलग-अलग पुरूषों से जुड़वा बच्चों की माँ बन जाती है। विक्की कौशल द्वारा निभाया गया किरदार अखिल चड्ढा और एमी विर्क द्वारा निभाया गया किरदार गुरबीर पन्नू उसकी जिंदगी में आते हैं और एक हास्यपूर्ण और जटिल परिस्थिति उत्पन्न करते हैं।

फिल्म का निर्देशन और कास्ट

आनंद तिवारी ने फिल्म का निर्देशन इसलिए चुना कि वे इस अनोखी और दुर्लभ घटना को दर्शकों के सामने एक हास्यपूर्ण तरीके से प्रस्तुत करना चाहते थे। फिल्म में विक्की कौशल और तृप्ति डिमरी की शानदार एक्टिंग को बहुत सराहा गया है। इन दोनों कलाकारों ने अपने किरदारों में जान डाल दी है और उनकी केमिस्ट्री भी लाजवाब है। एमी विर्क ने भी अपने किरदार को बेहतरीन तरीक़े से निभाया है।

कॉमेडी और संघर्ष

फिल्म की कहानी में कई हास्यपूर्ण और जटिल परिस्थितियाँ दिखायी गई हैं। सलोनी बग्गा की जटिल स्थिति और उसके दो पार्टनर्स के बीच की नोकझोंक हँसी का सम्मिश्रण पैदा करती है। फिल्म में एक साधारण कहानी को अद्भुत स्थिति में बदलने की कोशिश की गई है, लेकिन कई जगहों पर कॉमेडी दृश्य थोड़ा अधिक खींचे हुए लगते हैं।

मिली जुली प्रतिक्रिया

हालांकि फिल्म की कहानी और उसके अनूठे विषय को काफ़ी सराहा गया है, लेकिन कुल मिलाकर फिल्म को मिश्रित समीक्षा मिली है। कहानी में गहराई की कमी और अत्यधिक हास्य दृश्यों ने कई दर्शकों को निराश किया है। दर्शकों का मानना है कि फिल्म एक मज़बूत प्लॉट और गंभीर ट्रीटमेंट की मांग करती थी।

फिल्म का अंतिम निष्कर्ष यही होता है कि एक अनोखी और दुर्लभ घटना पर आधारित होते हुए भी, अच्छी एक्टिंग और मजेदार क्षणों के बावजूद, फिल्म अपनी पूरी क्षमता को नहीं छू पाई।

13 Comments

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    sivagami priya

    जुलाई 21, 2024 AT 19:14
    ये फिल्म तो बिल्कुल जिंदगी जैसी है! एक दम मजेदार, थोड़ी अजीब, और फिर भी दिल को छू जाती है! 😍
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    chayan segupta

    जुलाई 23, 2024 AT 08:44
    विक्की कौशल ने फिर से अपनी एक्टिंग की बात बना दी। ये आदमी किसी भी रोल में अपना दिल लगा देता है। बेड न्यूज़ में भी वो बस एक बार फिर निकल गए!
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    King Singh

    जुलाई 24, 2024 AT 07:12
    हेटेरोपाटर्नल सुपरफिकुंडेशन का विषय वाकई अद्भुत है। लेकिन फिल्म ने इसे ज्यादा गहराई से नहीं छूआ। एक जैविक घटना को हास्य के लिए इस्तेमाल करना थोड़ा अनुचित लगा।
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    Dev pitta

    जुलाई 24, 2024 AT 20:13
    मुझे लगा कि ये फिल्म एक बहुत ही अजीब बात को साधारण बना रही है। लेकिन तृप्ति डिमरी की एक्टिंग ने मुझे रोक लिया। वो बस इतनी सच्ची लग रही थीं कि मैं भी उसकी जगह हो गया।
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    praful akbari

    जुलाई 25, 2024 AT 09:08
    क्या ये फिल्म हमें ये बताना चाहती है कि जीवन कभी-कभी असंभव लगता है, लेकिन फिर भी हम उसे जी लेते हैं? एक अजीब सी सवाल है।
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    kannagi kalai

    जुलाई 26, 2024 AT 02:07
    मैंने बस आधा घंटा देखा और बंद कर दिया। बहुत ज्यादा हास्य, बहुत कम भावनाएँ।
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    Roy Roper

    जुलाई 27, 2024 AT 09:28
    फिल्म बर्बर है। इतनी बड़ी बात को हास्य में बदल दिया? ये तो लोगों के दर्द को मजाक बना रही है।
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    Sandesh Gawade

    जुलाई 27, 2024 AT 11:41
    अगर तुमने ये फिल्म नहीं देखी तो तुमने जिंदगी का एक हिस्सा छोड़ दिया! विक्की और तृप्ति की केमिस्ट्री बेमिसाल है। ये फिल्म बस एक फिल्म नहीं, एक घटना है!
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    MANOJ PAWAR

    जुलाई 28, 2024 AT 23:33
    मैंने इस फिल्म को देखकर रो दिया। नहीं, नहीं... बस एक बार अचानक लगा कि ये सब असली है। एक महिला का दर्द, दो पुरुषों का भ्रम, और एक अनजान बच्चों का भविष्य... ये सब बस एक कॉमेडी नहीं है।
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    Pooja Tyagi

    जुलाई 29, 2024 AT 06:25
    ये फिल्म बस एक बहाना है जिससे लोग बेकार की बातें कर रहे हैं! ये जैविक घटना तो बहुत गंभीर है, इसे फिल्म में तो बहुत गहराई से दिखाना चाहिए था। अब तो ये बस एक नाटक बन गया है! 😒
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    Kulraj Pooni

    जुलाई 30, 2024 AT 22:33
    क्या हम अपनी जिंदगी में भी ऐसे ही अनुमानों पर चलते हैं? क्या हम कभी सच्चाई को समझ पाते हैं? ये फिल्म सिर्फ एक बच्चों की कहानी नहीं, ये तो मानवता की एक अजीब सी झलक है।
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    Hemant Saini

    जुलाई 31, 2024 AT 20:47
    मैंने ये फिल्म एक बार देखी और फिर दोबारा देख ली। पहली बार हास्य के लिए, दूसरी बार इसकी गहराई के लिए। अखिल और गुरबीर के बीच का तनाव... वाकई बहुत अच्छा बनाया गया है।
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    Nabamita Das

    अगस्त 2, 2024 AT 01:20
    फिल्म के अंत में जब सलोनी अपने बच्चों को देखती है, तो आपको लगता है कि ये सब बर्बर नहीं, बल्कि एक अद्भुत जीत है। इस फिल्म को एक बार जरूर देखें।

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